मेरे प्यारे साथियो :)
लिखने का मन कर रहा था, तो सोचा की क्यों ना श्री-गणेश कर ही दिया जाए ? जितने अच्छे से मैं अपने आप की हिंदी में व्यक्त कर सकता हूँ, शायद अंग्रेजी में नहीं. तो मैंने निश्चय किया की मेरा माध्यम हिंदी ही रहेगा... मैं अतिशीघ्र मेरे पहले लेख, "५०० रूपये का एक note" के साथ अपनी शुरुवात करूँगा, और उम्मीद करता हूँ की तुम लोगो को अच्छा लगेगा..
लिखने का मन कर रहा था, तो सोचा की क्यों ना श्री-गणेश कर ही दिया जाए ? जितने अच्छे से मैं अपने आप की हिंदी में व्यक्त कर सकता हूँ, शायद अंग्रेजी में नहीं. तो मैंने निश्चय किया की मेरा माध्यम हिंदी ही रहेगा... मैं अतिशीघ्र मेरे पहले लेख, "५०० रूपये का एक note" के साथ अपनी शुरुवात करूँगा, और उम्मीद करता हूँ की तुम लोगो को अच्छा लगेगा..
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